(बिन्टू कुमार)
नारायणपुर|स्मार्ट हलचल|कस्बे और आसपास के इलाकों में बंदरों का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है, जिससे आमजन का दैनिक जीवन प्रभावित हो रहा है। झुंड के झुंड बंदर घर की छत, गली और बाजार में घूमते नजर आ रहे हैं। उनके डर से लोग हमेशा असहज महसूस करते हैं। बंदर न केवल घरों की छतों पर रखे कपड़े, खाने-पीने की चीजें और सामान उठा ले जाते हैं, बल्कि कई बार लोगों पर हमला भी कर देते हैं। बच्चे व बुजुर्गों को अक्सर इनके हमलों का सामना करना पड़ता है, जिससे गंभीर चोट लगने का खतरा बना रहता है। ग्रामीणों का कहना है कि बंदरों की बढ़ती संख्या ने रोजमर्रा का जीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। महिलाएं घर से बाहर निकलने में डरती हैं, वहीं स्कूली बच्चे भी अकेले आने-जाने से परहेज कर रहे हैं। स्थानीय नागरिकों ने नगर पालिका और वन विभाग से शीघ्र समाधान की मांग की है। लोगों का कहना है कि अगर बंदरों को आबादी क्षेत्र से हटाकर सुरक्षित स्थान पर नहीं ले जाया गया तो स्थिति और गंभीर हो सकती है।


