ब्यावर, स्मार्ट हलचल|राजस्थान – ब्यावर विधानसभा क्षेत्र के विद्यालयों में मरम्मत एवं निर्माण कार्यों के लिए एक बड़ी राहत की खबर सामने आई है। क्षेत्रीय विधायक श्री शंकर सिंह रावत की पहल और सक्रियता से राजस्थान सरकार द्वारा कुल 103.84 लाख रुपये की राशि स्वीकृत की गई है। यह बजट विभिन्न राजकीय विद्यालयों के भवनों की मरम्मत और मूलभूत सुविधाओं के सुधार हेतु स्वीकृत हुआ है।
विधायक रावत ने हाल ही में झालावाड़ हादसे के बाद स्कूल भवनों की स्थिति का स्वयं निरीक्षण किया था और देखा कि कई विद्यालय जर्जर अवस्था में हैं, जिससे छात्र-छात्राओं की सुरक्षा को खतरा हो सकता है। इस निरीक्षण के तुरंत बाद उन्होंने राजस्थान सरकार से आग्रह कर तत्काल बजट पास करवाया। यह पहल उनके संवेदनशील और सक्रिय जनप्रतिनिधि होने का प्रमाण है।
उन्होंने राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री भजनलाल शर्मा तथा शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर का भी आभार प्रकट किया कि उन्होंने विद्यालयों की मरम्मत के इस महत्वपूर्ण कार्य के लिए इतनी शीघ्रता से मंजूरी प्रदान की।
स्वीकृत राशि का वितरण इस प्रकार है:MGGS, मुंदरी महिंद्रातान – ₹10 लाखराजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, जवाजा – ₹10 लाखराजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, सुहावा – ₹12 लाखराजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, टाडगढ – ₹13.66 लाखराजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय, भोपा का बाडिया – ₹7.40 लाखराजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय, सरगांव – ₹8.58 लाखराजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय, सरवान – ₹8.20 लाखराजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय, कलातखेडा – ₹10 लाख
यह सभी विद्यालय लंबे समय से मरम्मत की स्थिति में थे। अब इन भवनों की मरम्मत और जरूरी निर्माण कार्य बहुत जल्द शुरू कर दिए जाएंगे।
विधायक रावत की प्राथमिकताएं:
विधायक शंकर सिंह रावत न केवल शिक्षा के क्षेत्र में, बल्कि स्वास्थ्य, आधारभूत ढांचे और जनसेवा के हर पहलू में अग्रणी भूमिका निभा रहे हैं। वे जनता के लिए हमेशा सुलभ रहते हैं और उनकी समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित करते हैं। क्षेत्र की जनता में उनके प्रति विश्वास और विश्वास की भावना दिन-ब-दिन मजबूत हो रही है।
विधायक शंकर सिंह रावत ने कहा कि, यह पहल न केवल विद्यालयों के छात्रों के लिए सुरक्षित और बेहतर शैक्षणिक वातावरण सुनिश्चित करेगी, बल्कि यह एक सशक्त संकेत है कि जब जनप्रतिनिधि सक्रिय और जिम्मेदार हों, तो जनहित में बड़े निर्णय शीघ्रता से लिए जा सकते हैं।
यह कदम क्षेत्रीय शिक्षा व्यवस्था को एक नई दिशा देगा और विद्यार्थियों के लिए सुरक्षित तथा प्रेरणादायक वातावरण का निर्माण करेगा