राजपूत समाज सहित सर्व समाज रहा सम्मिलित
बूंदी-स्मार्ट हलचल। कजरी तीज के पावन अवसर पर दुगारी स्थित हवेली में बड़े हर्षोल्लास से तीज का त्यौहार मनाया गया। जिसमें राजपूत परिवार सहित सर्व समाज सम्मिलित रहा!दुगारी हवेली से जुड़े हुए राजेंद्र सिंह ने बताया कि तीज का इतिहास बहुत पुराना है। बूंदी के अंदर बहुत समय पहले गणगौर की सवारी निकला करती थी और जैत सागर झील में गणगौर का पर्व मनाया जा रहा था लेकिन हाथियों ने उस पर अटैक कर दिया और उसके फलस्वरुप गणगौर सहित कई राजपूत उसमें डूब गए! इस समय से बहुत प्राचीन कहावत प्रचलित हुईगणग। हाडा ले डुबियो गणगौर उसी समय से इन प्रभु को मनाने की रोक लग गई।बूंदी दरबार उम्मेद सिंह के पुत्र जैत सिंह, बहादुर सिह गोठडा व सरदार सिहं जी दुगारी थे। दूसरे पुत्र बहादुर सिंह गोठड़ा के पुत्र बलवंत सिंह जयपुर में तीज देखने गए थे जिस समय राजस्थान की सबसे प्रसिद्ध तीज जयपुर की थी। इस समय उनके साथियों ने याद दिलाया कि हुक्म अपने बूंदी में इस तरह की कोई सवारी नहीं निकाली जा सकती है। इस समय यह प्रचलन था कि अगर तीज को लूट कर लाया जाता है तो एक बहुत बड़ी उपलब्धि मानी जाती थी इसी समय बलवंत सिंह ने साथियों को आदेश दिया की जयपुर की तीज को लूटकर बूंदी लाया जाए। उसी समय जयपुर और बूंदी के गोठड़ा राजा बलवंत सिंह के बीच युद्ध हुआ और यह सवारी जयपुर से लौटकर गोठड़ा बूंदी में लेकर आ गए और जब तक बलवंत सिंह जी जिंदा रहे तब तक गोठड़ा में सवारी निकाली जाती रही लेकिन उनके गुजर होने के बाद उनके कोई वारिस नहीं था और गोठड़ा को बूंदी में ही माना जाता था इस कारण तीज की सवारी बूंदी में आ गई और फिर बूंदी में तीज की सवारी निकाला जाना प्रारंभ हो गया। आज भी बलवंत सिंह जी का स्थान जैत सागर रोड पर है जहां पर दूर दूर से यात्री आते हैं। वह आज भी उसी रूप में पूजा रहे हैं और सब की मन्नत पूरी होती है। आज इसी कारण यह कजली तीज का त्योहार बूंदी में ऐतिहासिक और बड़ी धूमधाम से मनाया जा रहा है।
इसी कड़ी में आज दुगारी राज परिवार द्वारा बूदी स्थित हवेली में तीज का त्यौहार मनाया जा रहा है जिसमें आचार्य व परिवार शर्मा परिवार सहित सर्व समाज द्वारा तीज माता की पूजा अर्चना कर सभी के लिए मंगल कामना की।
इस उपलक्ष पर महारानी सा तरुण कुमारी, युवरानी सा सरोज कुमारी, राजबाई सा शिवरा कुमारी, अवंतिका शर्मा, नेहा बाकल, शगुन वर्मा, वंदना यादव, सीता ललिता मीणा विजयंत दाधीच, उमा देवी, आस्था जोशी सहित उपस्थित रहे! !