कोटा।स्मार्ट हलचल|अकलंक कॉलेज ऑफ़ एजुकेशन की राष्ट्रीय सेवा योजना (एन.एस.एस.) इकाई ने ‘राष्ट्रीय सेवा योजना स्थापना दिवस’ के अवसर पर दो दिवसीय कार्यक्रमों का सफल आयोजन किया। महाविद्यालय प्रबंधन समिति के सहयोग तथा प्राचार्या डॉ. पिंकी श्रीवास्तव और उप-प्राचार्या नम्रता जैन के मार्गदर्शन में यह आयोजन संपन्न हुआ।
पहले दिन आयोजित जागरूकता शिविर में अकलंक विद्यालय संगठन की विभिन्न इकाइयों के विद्यार्थी तथा राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, बालाकुंड के शिक्षक-विद्यार्थियों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। मुख्य आयोजन की जिम्मेदारी डॉ. सोनल ने निभाई, जबकि डॉ. किरण गुप्ता, कृष्ण कन्हैया गोस्वामी, महावीर एवं बबीता पाठक ने सहयोग किया।
एसोसिएशन के अध्यक्ष पीयूष बज एवं सचिव अनिमेष जैन ने सिंगल यूज़ प्लास्टिक, सजावट में प्रयुक्त प्लास्टिक सामग्री, कीटनाशकों के अत्यधिक उपयोग, कबूतरों को दाना डालने और बंदरों को मानव भोजन देने से उत्पन्न समस्याओं पर प्रकाश डाला। समाधान के रूप में प्राकृतिक सजावट सामग्री का उपयोग, जैविक खेती को बढ़ावा तथा वन्यजीवों को उनके प्राकृतिक भोजन पर निर्भर रहने देने जैसे सुझाव दिए गए। साथ ही ‘माय भारत पोर्टल’ पर पंजीकरण और क्विज़ प्रतियोगिता की जानकारी भी प्रदान की गई।
शिविर के अंत में पर्यावरण संरक्षण संबंधी पंपलेट वितरित किए गए। इस अवसर पर राजकीय विद्यालय, बालाकुंड की प्राचार्या रजनी बड़जात्या ने कहा— “ऐसे शिविर युवाओं को जिम्मेदार नागरिक बनाने और पर्यावरण संरक्षण की दिशा में प्रेरित करने में सहायक सिद्ध होंगे।”
अगले दिन 25 सितंबर को एन.एस.एस. इकाई ने स्वच्छोत्सव कार्यक्रम का आयोजन किया। इस दौरान स्वयंसेवकों ने राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, बालाकुंड में व्यापक सफाई अभियान चलाया। विद्यालय परिसर, कक्षाओं एवं खेल मैदान को स्वच्छ किया गया तथा विद्यार्थियों को ‘स्वच्छता ही सेवा है’ का संदेश दिया गया।
डॉ. सोनल के नेतृत्व में हुए इस अभियान में स्वयंसेवकों ने स्वच्छ वातावरण को स्वास्थ्य और समाज दोनों के लिए आवश्यक बताया। इस अवसर पर महाविद्यालय की संकाय सदस्य डॉ. लक्ष्मी खंडेलवाल, डॉ. सुनैना गंगेले,गीता राठौर, सुमिता अरोड़ा एवं महावीर ने सक्रिय योगदान दिया।


