(बजरंग आचार्य)
सादुलपुर, स्मार्ट हलचल|राजगढ़ ब्लॉक के अंतर्गत ग्राम पंचायत पहाड़सर में महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) के तहत निजी कुंड और कैटल शेड निर्माण कार्यों में बड़े पैमाने पर अनियमितताओं, भ्रष्टाचार और भाई-भतीजावाद का गंभीर आरोप लगाया गया है।
दिलबाग सिंह नामक एक स्थानीय निवासी ने ब्लॉक विकास अधिकारी को शिकायत पत्र में आरोप लगाया है कि ग्राम पंचायत के सरपंच और ग्राम विकास अधिकारी ने अपने पद का दुरुपयोग किया है। उन्होंने योजना के लाभार्थियों का चयन पक्षपातपूर्ण ढंग से करते हुए अपने परिवारजनों, रिश्तेदारों, एवं अपात्र व्यक्तियों के नाम पर दो-दो से चार-चार तक निजी कुंड और कैटल शेड स्वीकृत करवा लिए हैं। शिकायत में यह भी कहा गया है कि कुछ सरकारी कर्मचारियों के परिवार के सदस्य भी इन अपात्र लाभार्थियों में शामिल हैं।
इसके विपरीत, गांव के गरीब, जरूरतमंद और बीपीएल परिवारों को इस योजना के लाभ से पूरी तरह वंचित रखा गया है।
शिकायतकर्ता ने मनरेगा के निर्माण कार्यों में वित्तीय अनियमितताओं (गबन) का भी उल्लेख किया है। आरोप है कि फर्जी “कुशल एवं अकुशल श्रमिक” दिखाकर मस्टर रोल (हाजिरी रजिस्टर) में फर्जी नाम और हाजरी दर्ज की गई है, और मजदूरी की राशि का गबन किया गया है।
प्रार्थी ने मांग की है कि इस पूरे प्रकरण की जाँच किसी निष्पक्ष अधिकारी या स्वतंत्र जाँच समिति से करवाई जाए। उन्होंने राजस्थान जनसंपर्क पोर्टल पर की गई शिकायत की जाँच उसी आरोपी व्यक्ति से करवाए जाने पर भी आपत्ति व्यक्त की है।
शिकायतकर्ता ने दोषी सरपंच और ग्राम विकास अधिकारी के विरुद्ध कड़ी विभागीय व कानूनी कार्रवाई करने, गबन की गई राशि वसूल करने और वंचित गरीब परिवारों को योजना का वैध लाभ दिलाने की अपील की है।


