महेंद्र नागोरी
भीलवाडा, स्मार्ट हलचल। एक प्रोसेस हाउस की साइट रिपोर्ट अग्रिम एक्शन को लेकर जयपुर मुख्यालय को भेजी । वस्त्रनगरी भीलवाड़ा में कपड़ा उद्योगों द्वारा काला पानी छोड़ने के मुद्दे पर राजस्थान राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल ने जांच शुरू की है। चित्तौड़ रोड स्थित सोना प्रोसेस हाउस और पुर में स्थित समर्पण प्रोसेस हाउस द्वारा केमिकल युक्त पानी छोड़ने की शिकायतें मिली थीं।
जांच और कार्रवाई:
वरिष्ठ पर्यावरण अभियंता दीपक धनेटवाल ने बताया कि सोना प्रोसेस हाउस द्वारा पानी डिस्चार्ज का सीधे डिस्चार्ज नहीं पाया गया, लेकिन मौके पर स्थित साक्ष्यों से यह लगा सकता है कि इकाई द्वारा पूर्व में दूषित जल का निष्राव किया गया था। इसकी साइट रिपोर्ट अग्रिम एक्शन हेतु जयपुर मुख्यालय को भेज दी गई है।
गंगापुर रोड स्थित समर्पण प्रोसेस हाउस की जांच में कनिष्ठ वैज्ञानिक अधिकारी कृतिका सोमावत को काला पानी अथवा दूषित जल का निश्राव नहीं मिला.. शिकायतकर्ता से आग्रह किया गया कि यदि अब बारिश में इस तरह की समस्या आए तो तुरंत प्रदूषण नियंत्रण मंडल को सूचित किया जाए जिससे संबंधित इकाई पर कार्रवाई सुनिश्चित की जा सके।
प्रदूषण नियंत्रण मंडल के कदम:-
मंडल ने सभी कपड़ा उद्योगों को शून्य जल निस्त्राव की शर्त पर ही सम्मति दी है।
वन एवं पर्यावरण मंत्री संजय शर्मा ने विधानसभा में घोषणा की थी कि प्रदूषण फैलाने वाली फैक्ट्रियों की जांच के लिए चार सदस्यीय कमेटी का गठन किया जाएगा। इस हेतु कमेटी का गठन कर दिया गया है।
भीलवाड़ा में प्रदूषण का मुद्दा:-
भीलवाड़ा के कपड़ा उद्योगों से निकलने वाला केमिकल युक्त पानी नदी और नालों में छोड़ा जा रहा है, जिससे धरती और जल प्रदूषित हो रहा है।
-स्थानीय निवासी और पर्यावरणविद इस मुद्दे पर चिंता जता रहे हैं और सरकार से सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। बनास नदी में काला पानी छोड़ने से आसपास के गांवों की जमीन, कुएं और फसलें प्रभावित हो रही हैं ।