कलश यात्रा के साथ शुरू हुआ सप्तदिवसीय धार्मिक आयोजन
शाहपुरा@(किशन वैष्णव)विश्व कल्याण के निमित धार्मिक आयोजन,हरी कीर्तन,संत समागम एवं रामकथा सहित पंच कुंडात्मक गौ सुरभि महायज्ञ का धार्मिक आयोजन खामोर गांव में समस्त ग्रामवासियों की ओर से कलश यात्रा के साथ शुरू हो गया।12 से 18 तक सप्तदिवसीत धार्मिक आयोजन को लेकर रविवार सुबह 7 बजे से बैंड बाजो और अखाड़ा प्रदर्शन के साथ 151 महिलाओ और कन्याओं द्वारा मिट्टी के कलशों में जल भरकर मंत्रोचार से विधिवत पूजा अर्चना आचार्य पंडित केदार महाराज द्वारा करवाकर महिलाओ के सिर पर धारण किए।बैंड बाजा और मंसूरी ढोल नगाड़ों के साथ गांव के प्रसिंद्ध मंदिर नर्सिंह द्वारा से कलश यात्रा शुरू हुई जो डेयरी चौराहा,बलाई मोहल्ला,चारभुजा मंदिर,स्कूल चौराहा होते हुए तेजाजी चौक पहुंची।तेजाजी मंदिर में कलश को उतार कर यज्ञ पांडाल में वेदियों के पास स्थापना की गई।प्रमुख आचार्य पंडित केदार महाराज ने बताया की रविवार से पवित्रभूमि खामोर में सुबह 9 से दोपहर 3 बजे तक यज्ञ में आहुतियां लगेगी तथा रात्रि 8 से 11 बजे तक रामकथा का आयोजन पंडित केदार महाराज के मुखारबिंद से होगा।उन्होंने सुरभि यज्ञ के बारे में बताया की स्वयं भगवान कृष्ण ने सर्वाधिक पूजनीय गौमाता को ईष्टदेव मानकर श्री सुरभ्ये नम:मंत्र का जाप किया तथा छह वर्ष की आयु में ही नंगे पांव रहकर गौ माता की सेवा की और गोपाल कहलाए। यहां तक की देवों के देव महाराज इन्द्र ने भी सुरभि मां को सर्वश्रेष्ठ मानकर उनकी आराधना की।हिन्दू संस्कृति में गौ माता की अर्चना-सेवा कर पूरे विश्व के कल्याण की कामना भी की गई।जिसके पदचिन्हों पर चलते हुए ग्रामवासियों द्वारा निर्णय लिया गया की विश्व कल्याण निमित धार्मिक आयोजन रखा जाए।जिसका आयोजन शुरू हो गया है।जिसका समापन 18 मई को होगा।