Homeराष्ट्रीयलोकसभा चुनाव से पहले गुजरात में टूट रहा है विपक्ष

लोकसभा चुनाव से पहले गुजरात में टूट रहा है विपक्ष

Aalekh 9 February

स्मार्ट हलचल/गुजरात विधानसभा से पिछले महीने आम आदमी पार्टी के विधायक भूपत भायानी और कांग्रेस के विधायक चिराग पटेल ने इस्तीफा दिया था। दोनों पूर्व विधायक भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सीआर पाटील की मौजूदगी में भाजपा में शामिल हो चुके हैं। इस बार अलग रणनीति के तहत दोनों पूर्व विधायकों को उनके क्षेत्र में भाजपा में शामिल किया गया और खुद प्रदेश अध्यक्ष सी आर पाटील उस विधानसभा में जाकर कार्यकर्ताओं से मिले और इन दोनों नेताओं का पार्टी में स्वागत किया।

भाजपा अध्यक्ष सीआर पाटिल बताते है कि सुप्रिम कोर्ट के फैसले के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने भव्य राम मंदिर का सपना पूरा किया और आज सभी देशवासी भव्य राम मंदिर के साक्षी भी बने हैं। हर रोज 5 लाख से ज्यादा लोग दर्शन करने पहुंचते हैं। भाजपा एक पार्टी है जो अपने संकल्प पत्र में दिए हुए हर वादे को पूरा करती है। आने वाले दिनों में भी भाजपा लोगों के लिए काम करती रहेगी और आप भी अब भाजपा में जुड़े हैं तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाथ मजबूत करेंगे। पाटिल का कहना है कि लगातार तीसरी बार नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बनने जा रहे हैं और हम तीसरी बार गुजरात में सभी 26 की 26 सीट जीतकर उनको प्रधानमंत्री बनाएंगे। यह सभी सीटें 5 लाख से ज्यादा की लीड से जीतेंगे ताकि पूरे देश में एक मैसेज जाए।

उन्होंने भूपत भायानी को पार्टी में शामिल करते बताया था कि यहां से जो भी उम्मीदवार आएगा उसको जीतने की जिम्मेदारी आपकी और सभी कार्यकर्ताओं की रहेगी। वहीं दूसरी ओर खंभात में चिराग पटेल को जोड़ते वक्त उन्होंने कहा कि चिराग पटेल ने बड़ी हिम्मत दिखाकर विधायक पद छोड़ा है तो यह सभी कार्यकर्ताओं की जिम्मेदारी है कि उनको जिताएं। यानी उन्होंने साफ तौर पर संकेत दिया कि खंभात सीट से चिराग पटेल का चुनाव लड़ना तय है, लेकिन विसावदर में उम्मीदवार बदल सकता है।

अब तक गुजरात विधानसभा से चार विधायक इस्तीफा दे चुके हैं, जिसमें से दो पूर्व विधायक भाजपा में शामिल हो चुके हैं। आने वाले दिनों में बाकी दो विधायक भी भाजपा का दामन थामेंगे। माना जा रहा था कि लोकसभा चुनाव से पहले और दो से तीन विधायक विपक्ष को छोड़कर इस्तीफा देंगे पर फिलहाल इन सभी अटकलों पर रोक लगी है। भाजपा पूरी तरह से चुनावी मोड में आ चुकी है और लोकसभा में प्रचंड और भव्य जीत की तैयारी में लगी है।

लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को गुजरात दूसरा बड़ा झटका जो लगा है वह है सीजे चावड़ा का । गुजरात कांग्रेस के सीनियर विधायक सीजे चावड़ा ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया । चावड़ा वीजापुर सीट से विधायक थे। कांग्रेस ने गुजरात में 17 सीटों पर जीत हासिल की थी। अब राज्य में कांग्रेस के 15 विधायक ही रह गए हैं। सीजे चावड़ा से पहले खंभात सीट से विधायक चिराग पटेल ने कांग्रेस छोड़ी थी। सीजे चावड़ा 2019 के लोकसभा चुनाव में अमित शाह के खिलाफ गांधीनगर सीट से चुनाव लड़ चुके हैं। सीजे चावड़ा को पूर्व मुख्यमंत्री शंकर सिंह बाघेला का करीबी भी माना जाता है। चावड़ा के इस्तीफे के बाद कांग्रेस उत्तरी गुजरात में और कमजोर हो गई है माना जा रहा है । चावड़ा ने मीडिया से बातचीत में कहा, कांग्रेस के नेता समय-समय पर गलत बयानबाजी करते हैं और सरकार का विरोध करते रहते हैं, जोकि ठीक नहीं है। कांग्रेस ने राम मंदिर का विरोध किया और सर्जिकल स्ट्राइक पर सवाल उठाए, जोकि गलत थे। मेरा अलावा कांग्रेस के कई नेताओं में नाराजगी है।

इसके अलावा उन्होंने कहा, पीएम मोदी के नेतृत्व में देश में G20 का सफल आयोजन हुआ है, देश सकारात्मक तरीके से आगे बढ़ रहा है। गुजरात के दो नेता नरेंद्र मोदी और अमित शाह देश को वैश्विक फलक पर आगे बढ़ा रहे है, ऐसे में उन्हें नुक़सान पहुंचाना ठीक नहीं है। पीएम मोदी का काम करने का तरीका शानदार रहा है। विधायक पद से इस्तीफा देने के बाद अब में अपने क्षेत्र में जाकर कार्यकर्ताओं से मिलूंगा और अगली विकास की राजनीति तय करूंगा।

गौरतलब है कि कांग्रेस से इस्तीफा देने वाले सीजे चावड़ा तीन बार के विधायक रह चुके हैं। वो साल 2002 में पहली बार विधायक बने थे और 2007 में चुनाव हार गए थे। उसके बाद 2017 में गांधीनगर उत्तर विधानसभा सीट से कांग्रेस के विधायक बने थे। उसके बाद 2019 में अमित शाह के खिलाफ गांधीनगर सीट से लोकसभा चुनाव लड़ा, लेकिन हार गए। पिछले विधानसभा चुनाव में मेहसाणा के वीजापुर से जीतकर चावड़ा फिर विधायक बने। वो पेशे से वेटरनरी डॉक्टर हैं और गुजरात सरकार में अधिकारी थे।

कांग्रेस के इन विधायकों के अलावा एक महीना पहले जब आम आदमी पार्टी के विसावदर सीट से विधायक भूपत भयानी ने भी इस्तीफा दिया था, जिसके बाद आम आदमी पार्टी के गुजरात में चार विधायक ही रह गए हैं। गुजरात विधानसभा में बीजेपी के 156, कांग्रेस के 15, आम आदमी पार्टी के 4, समाजवादी पार्टी का एक और तीन निर्दलीय विधायक हैं।

लगता है कि लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए भाजपा ने भर्ती अभियान शुरू कर दिया है। पिछले सप्ताह 1000 से ज्यादा राजकीय सामाजिक अग्रणियों को भाजपा में जोड़ने के बाद हाल ही में गुजरात प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष सीआर पाटील की मौजूदगी में कांग्रेस के पूर्व विधायक इंद्रजीत सिंह परमार और उत्तर गुजरात के सहकारी नेता विपुल पटेल समेत 1500 से ज्यादा अग्रणी भाजपा में शामिल हुए। मध्य गुजरात के खेड़ा जिले की महूधा सीट के पूर्व विधायक इंद्रजीतसिंह परमार के पिता भी 5 बार विधायक रह चुके है और कांग्रेस के दिग्गज नेता रहे है। उत्तर गुजरात से आए विपुल पटेल सहकारी नेता और कौंग्रेस के जिला प्रमुख रह चुके है जो अभी साबर डेरी मे डिरेक्टर भी है। उनको शामिल करते समय भाजपा अध्यक्ष पाटिल ने कहा कि आज देश में सिर्फ एक नेता की गारंटी पर जनता भरोसा करती है और वह देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैं। जिस तरह से राम मंदिर का भव्य प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव हुआ उसके बाद पूरे देश में राम मय माहौल है। उन्होंने कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जो कहते हैं वह काम पूरा करके दिखाते हैं। जितने भी कामों का उन्होंने भूमिपूजन/शिलान्यास किया है उन कामों का लोकार्पण भी वही करते हैं। आप लोग जहां से भी आते हैं उसे इलाके में प्रधानमंत्री और भाजपा के प्रति लोगों में भरोसा बढ़ता जा रहा है। आप भी अब भाजपा में आ चुके हैं जब लोगों के काम पूरे के लिए जुट जाए। बातों में जुड़ने वाले नेताओं ने कहा कि कांग्रेस में उनका घुटन हो रही थी और साथ ही जिस तरह से कांग्रेस के राष्ट्रीय नेतृत्व का प्रजा के मुद्दों पर विपरीत स्टैंड रहा है जिसके चलते आम जनता में नाराजगी है फिर चाहे वह राम मंदिर का मुद्दा हो या फिर धारा 370 का। इसीलिए एक के बाद एक कांग्रेस नेता कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हो रहे हैं।

यह बात सभी को विदित है कि आम तौर पर भाजपा में हमेशा चुनाव से पहले विपक्ष के नेताओं को जोड़ा जाता है ताकि एक चुनावी माहौल बने और जनता में मैसेज जाए कि विपक्ष कमजोर है और भाजपा मजबूत है। इस बार भी लोकसभा चुनाव से पहले यह भर्ती अभियान शुरू हुआ है। भाजपा ने इसके लिए पांच सदस्यों की एक समिति भी बनाई है जो दूसरे पक्ष से आने वाले लोगों के बारे में संकलन और अभ्यास करती है ताकि संगठन में कहीं पर असंतोष न हो और कार्यकर्ता एक रहे। आने वाले दिनों में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस छोड़ कर अपने-अपने विधानसभा क्षेत्र में भाजपा का दामन थामेंगे ऐसा भाजपा का मानना है क्योकि विधानसभा में प्रचंड 156 सीटें जीतने के बाद भी बीजेपी लोकसभा के लिए कोई चूक रखना नहीं चाहती।

टाइम्स नाउ मैटराइज सर्वे के मुताबिक बताया जाता है कि गुजरात में लोकसभा चुनाव में बीजेपी को बड़ा फायदा मिलता हुआ दिखाई दे रहा है। इस सर्वे के मुताबिक गुजरात में कांग्रेस, बीजेपी और आम आदमी पार्टी को झटका लग सकता है। सीटों के लिहाज से अगर बात करें तो इस साल होने वाले लोकसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस, आम आदमी पार्टी और अन्य के खाते में कोई सीटें नहीं आयेंगी। वहीं दूसरी तरफ बीजेपी को बढ़त मिलने की संभावना है। गुजरात में बीजेपी को 26 सीटें मिलने का अनुमान है। वहीं विपक्षी पार्टियों की अगर बात करें तो कांग्रेस: 0, आप: 0 और अन्य को भी शून्य सीटें मिलने की संभावना जताई गई है।

गुजरात में 26 लोकसभा क्षेत्र हैं। 2019 के चुनाव में बीजेपी ने सभी 26 सीटें जीती थीं। बीजेपी ने यहां 2014 के आम चुनाव का अपना प्रदर्शन दोहराया था। इस चुनाव में कांग्रेस के कई बड़े नेताओं की हार हुई थी। बीजेपी ने पिछले चुनाव में ऐतिहासिक जनादेश दर्ज किया था। वहीं गुजरात में कांग्रेस ने बहुत खराब प्रदर्शन किया था। अब इस ताजा सर्वे के सामने आने के बाद बीजेपी जीत की हैट्रिक लगा पाएगी या नहीं ये तो आने वाला वक्त ही बताएगा।

अब देखना यह भी होगा कि चुनाव से पहले क्या और विधायक इस्तीफा देंगे या इन 4 सीटों पर ही उपचुनाव होंगे?

अशोक भाटिया,

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