ओम जैन
स्मार्ट हलचल/सालेरा का शिक्षक सीडी कांड अब ना सिर्फ जिले में बल्कि प्रदेशभर में चर्चा का विषय बन गया, जिसने देखा हर कोई कह रहा कि इसे शिक्षक कहने में भी शर्म आ रही, ऐसी बेशर्मी कि हदे पार करने ओर शिक्षा के मंदिर में मर्यादा को तार तार करने के बाद भी अगर शिक्षा विभाग और कुछ अधिकारी ऐसे दोषी को बचाने में लगे तो फिर आमजन का तो कानून से विश्वास ही उठ जाएगा।
बता दे कि एक शिक्षक अरविंद व्यास जो उम्र में वरिष्ठ होने के साथ ही समाज, शिक्षा के क्षेत्र सहित विभिन्न क्षेत्रों में ख्याति प्राप्त था लेकिन जब उसके कारनामे दुनिया के सामने आए तो शर्मशार करने वाले थे।
विद्यालय के अंदर ही एक शिक्षिका के साथ अश्लीलता के वीडियो वायरल होने के बाद ओर अपनी गन्दगी स्कूली बच्चियों से ही साफ करवाने के वीडियो वायरल होने के बाद ग्रामीणों का गुस्सा जायज था वही दोनों शिक्षक शिक्षिका को बर्खास्त कर सजा देने के बजाय सिर्फ निलंबन को ग्रामीणों ने ऊंट के मुंह मे जीरा बताया।
जांच कमेटी का ग्रामीणों ने किया विरोध
इस आन्दोल के नायक कालू सुथार, स्थानीय सरपँच जगदीश जाट सहित ग्रामीणों ने सोमवार को सालेरा में मामले कि जांच करने आई कमेटी का जमकर विरोध किया, ग्रामीणों का कहना था कि जिला कलेक्टर खुद यहाँ आये ओर जांच को अंतिम रूप देकर दोषियों को सजा दी जाए लेकिन जिला कलेक्टर के मौके पर नही पहुचने से भी ग्रामीणों में रोष दिखा।
सरकारी तंत्र पर दोषियों को बचाने का आरोप
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि पूरा का पूरा सरकारी तंत्र निष्पक्ष जांच और कार्यवाही के बचाय सभी दोषी को बचाने में लगे है, अगर ऐसा हुआ तो उग्र आंदोलन होगा जिसका जिम्मेदार प्रसासन होगा।
जनप्रतिनिधियों की चुप्पी सोचनीय विषय
गंगरार क्षेत्र का पहला ऐसा मामला जो पूरे प्रदेश में चर्चा का विषय बना हुआ है, हर किसी को सोचने पर मजबूर करने वाले ऐसे गम्भीर मामले में भी स्थानीय भाजपा विधायक, सांसद सहित अन्य सभी जनप्रतिनिधियों कि चुप्पी भी जिलेभर में चर्चा का विषय बनी हुई है कि आखिर इसका क्या कारण की इतना होने के बाद भी ये सभी नेता चुप्पी साधे हुए है, इससे क्षेत्र की जनता में भी रोष देखा गया।