सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो
Noida engineer’s death:सोशल मीडिया में वायरल हो रहे है इस वीडियो में देखा जा सकता है कि, बैट्समैन शॉट मारता है और दूसरी छोर कर खड़े 36 वर्षीय विकाश लेने के लिए दौड़ते हैं और रन पूरा भी करते हैं. फिर पिच पर लड़खड़ा कर गिर पड़ते है. उन्हें इस प्रकार गिरता देख मैदान में हड़कम मच जाता है. उनके साथी फौरन डॉक्टर के पास लेकर जाते है यहां उन्हे मृत घोषित कर दिया जाता है.
उत्तर प्रदेश के नोएडा में खेलने के दौरान इंजीनियर की मौत के मामले पर अब चर्चा शुरू हो गई है। सेक्टर- 135 के क्रिकेट ग्राउंड में शनिवार की दोपहर मैच खेलते समय एक इंजीनियर बेहोश होकर अचानक गिर गए थे। साथी तुरंत उन्हें अस्पताल लेकर पहुंचे तो डॉक्टर ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में उनकी मौत हार्ट अटैक से होने की पुष्टि हुई है। खेलते वक्त हार्ट अटैक आने से सभी लोग अचंभित हैं। ऐसे में विशेषज्ञों का कहना है कि दौड़ते या खेलते वक्त अचानक हार्ट रेट बढ़ जाए या हांफने लगें तो कुछ देर रुक जाएं। इस दौरान शरीर को कुछ देर आराम देने की जरूरत है। डेली फिजिकल एक्टिविटी कम होने पर दिल पर एक दिन में अधिक बोझ डालना घातक साबित हो सकता है।
डॉक्टरों ने क्या कहा?
डॉक्टरों ने बताया कि ब्लड प्रेशर और शुगर के मरीजों को सर्दियों में हार्ट अटैक का खतरा ज्यादा रहता है। खेलते वक्त हार्ट अटैक की एक बड़ी वजह फिजिकल एक्टिविटी का कम होना भी है। हर रोज कम से कम 30 मिनट तक फिजिकल एक्टिविटी करें। पलूशन और कोहरा अधिक होने पर सुबह टहलने से बचें। खेलते वक्त हार्ट रेट सामान्य से अधिक होता है तो कुछ देर आराम करें।
फिजिकल एक्टिविटी/
बरतें सावधानी
- अलसुबह मॉर्निंग वॉक से बचें। हल्की धूप होने पर ही टहलने के लिए निकलें।
- खेलते या भागते वक्त सांस फूलने और सीने में दर्द होने पर डॉक्टर को दिखाएं।
- जंक फूड से दूरी बनाएं। इससे कोलेस्ट्रॉल बढ़ता है और हार्ट अटैक का खतरा रहता है।
- सर्दी में पूरी तरह से गर्म कपड़े पहनकर ही घर से बाहर निकलें।
- बीपी और शुगर की नियमित जांच कराते रहें। कोई दिक्कत है तो दवा लेने में देरी न करें।
- स्मॉकिंग और शराब से बचें। सांस फूलने या हार्ट रेट बहुत ज्यादा होने पर कुछ देर आराम करें।
हार्ट ब्लॉकेज की परेशानी
कार्डियोलॉजिस्ट ने बताया कि कोरोना पॉजिटिव हुए कुछ मरीजों को हार्ट ब्लॉकेज की परेशानी देखने को मिली है। यह कोरोना प्रभाव ही माना जा रहा है। रेगुलर एक्सरसाइज बंद करने के बाद एक दिन में ज्यादा तेज भागना या शरीर को जरूरत से अधिक थकाने पर दिल भी उतना ही ज्यादा थकता है। कोरोना पॉजिटिव हुए मरीजों को नियमित अपने दिल की जांच करानी चाहिए। अगर हार्ट में ब्लॉकेज जैसी परेशानी देखने को मिली है तो रेगुलर दवाएं खानी चाहिए।अपोलो हॉस्पिटल के कार्डियोलॉजिस्ट डॉ. अक्षय पुरोहित ने बताया कि भारतीय आयुर्विज्ञान परिषद (ICMR) की रिपोर्ट के मुताबिक, गंभीर रूप से कोरोना पॉजिटिव हुए मरीजों में दिल की बीमारी बढ़ी है। कोरोना की वजह से हार्ट की आर्टरीज में खून के थक्के बन गए थे। लोगों की जांच में यह पता चला। उन्होंने बताया कि कोरोना के बाद से दिल की बीमारी से संबंधित 30 फीसदी मामले बढ़े हैं। अगर किसी मरीज को ब्लड प्रेशर और शुगर की समस्या बीते 4 से 5 साल से है तो उनको खतरा ज्यादा रहता है। इसकी असल वजह कोरोना से खराब हुई दिनचर्या है। वीकेंड के दिन तो लोग स्पोर्ट्स या फिजिकल एक्टिविटी करते हैं। बाकी के 5 से 6 दिन फिजिकल एक्टिविटी बंद रहती है। अचानक दिल का दौरा पड़ने की यह भी वजह बन सकता है।