पुनित चपलोत
भीलवाड़ा (मांडल) । मांडल क्षेत्र के समेलिया गांव में बिजली ट्रांसफॉर्मरों से तेल चोरी की घटनाओं से किसान अपनी रबी की फसल की बुआई को लेकर चिंतित हैं। ग्रामीणों ने बताया कि डेढ़ महीने पहले भी ट्रांसफॉर्मरों से तेल चोरी हुआ था, अब शुक्रवार शनिवार की मध्यरात्रि चोरों ने फिर से कई ट्रांसफॉर्मरों को निशाना बनाया है। यह दूसरी बड़ी चोरी है जिससे गांव में बिजली आपूर्ति बाधित हो गई है और किसानों की बुआई पर संकट गहरा गया है।
स्थानीय किसान पपन सिंह ने बताया कि यह उनकी फसल बुआई का महत्वपूर्ण समय है। उन्होंने कहा, “एक बार ट्रांसफॉर्मर खराब होने के बाद उसे दोबारा शुरू कराने में हमें दो महीने तक इंतजार करना पड़ा था। यदि यही स्थिति बनी रही, तो किसानों के सामने गंभीर संकट खड़ा हो जाएगा।”
ग्रामीणों ने बताया कि स्थानीय विधायक उदय लाल भडाणा ने इस गांव को गोद ले रखा है। इसके बावजूद न तो बिजली विभाग समय पर कार्रवाई कर रहा है और न ही पुलिस चोरों को पकड़ पा रही है। समेलिया गांव में कुल 9 किसानों के ट्रांसफॉर्मरों से तेल चोरी हुआ है। इनमें भैरू लाल तेली, मोहन तेली, भंवर कंवर राजपूत, बक्शू लाल विश्नोई, हिरा विश्नोई, हरक चंद जैन, गोपाल कंवर, पन्ना राम और नानू राम माली शामिल हैं।
मालीखेड़ा में भी दो ट्रांसफॉर्मरों से तेल चोरी की वारदातें हुईं। इसके साथ ही कुछ अन्य स्थानों पर भी चोरी हुई है। कुल मिलाकर एक ही रात में करीब 12 स्थानों पर चोरी की घटनाएं दर्ज की गई हैं। चोरों ने इस बार तेल चोरी के लिए ड्रिल मशीन का इस्तेमाल किया है। वे ट्रांसफॉर्मर के निचले हिस्से में छेद कर सीधे तेल निकाल लेते हैं। इस तरीके से चोरी करने में कम समय लगता है और बिजली के झटके का खतरा भी नहीं रहता। इस कारण खेतों में मौजूद किसानों को भी घटना का तुरंत पता नहीं चल पाता।
ग्रामीणों का आरोप है कि बिजली विभाग और पुलिस की लापरवाही के कारण चोरों के हौसले बुलंद हैं। उनका कहना है कि विभागीय प्रक्रियाएं धीमी होने के कारण ट्रांसफॉर्मर बदलने में लंबा समय लगता है, जिसका सीधा खामियाजा किसानों को भुगतना पड़ रहा है।


