काछोला में होगा आचार्य हंस चैतन्य महाराज के सानिध्य में पुष्प वर्षा से स्वागत
चतुर्दिक वाहन कावड़ यात्रा 11 अगस्त को गुजरेगी काछोला से,
251 किलो पारे से निर्मित राजस्थान के प्रथम शिवलिंग होगा जलाभिषेक
काछोला 4 अगस्त,स्मार्ट हलचल/श्री अमरज्ञान निरंजनी आश्रम शक्करगढ़ के तत्वावधान में 11 अगस्त रविवार को चतुर्दिक वाहन कावड़ यात्रा का आयोजन किया जा रहा है। कावड़ यात्रा के लिए आश्रम की चारों दिशाओं से शिव भक्त दुपहिया वाहन के जरिए कावड़ में पवित्र स्थल के पवित्र जल भरकर लाएंगे तथा आश्रम में स्थापित 251 किलो पारे से निर्मित राजस्थान के प्रथम शिवलिंग पर जलाभिषेक करेंगे।
काछोला के मीडिया प्रभारी भैरु लाल मंत्री ने बताया कि महामंडलेश्वर आचार्य स्वामी जगदीश पुरी महाराज के शक्करगढ़ स्थित आश्रम के श्री संकटहरण हनुमत धाम पर 251 किलो पारे से निर्मित राजस्थान का पहला शिवलिंग है। जिसे पारदेश्वर महादेव के रूप में स्थापित किया गया है। इस शिवलिंग पर 11 अगस्त को रुद्राभिषेक के साथ विशेष जलाभिषेक का कार्यक्रम रखा गया है। इस कार्यक्रम के तहत पूर्व से रामेश्वर महादेव बूंदी, पश्चिम से त्रिवेणी संगम, उत्तर से बोरड़ा गणेश मंदिर देवली तथा दक्षिण से तिलस्वा महादेव मंदिर सहित चारों दिशाओं से कावड़ में जल भरकर लाने तथा सैकड़ों शिव भक्तों द्वारा वैदिक मंत्रोच्चार के साथ पारदेश्वर महादेव कावड़ यात्रा के व्यवस्थित संचालन के लिए कमेटियों का गठन कर दिया गया है।
उज्जैन से लाए थे पारद शिवलिंग-
आचार्य हंस चेतन्य जी महाराज ने बताया कि पारा भगवान शिव का अत्यंत प्रिय पदार्थ है। शिव पुराण एवं अन्य शास्त्रों के अनुसार श्रावण मास में पारदेश्वर शिवलिंग पूजन एवं दर्शन का विशेष महत्व माना गया है। 251 किलो पारा से निर्मित इस शिवलिंग को शक्करगढ़ स्थित श्री अमर ज्ञान निरंजन आश्रम के स्वामी जगदीश पुरी महाराज के आग्रह पर महाकाल की भूमि उज्जैन के सिद्ध संत स्वामी नारदानंद महाराज ने शास्त्रीय विधि से बनाया था। जिसे 18 फरवरी 2023 को उज्जैन से शक्करगढ़ स्थित नवनिर्मित श्री संकट हरण हनुमत धाम लाकर 22 फरवरी 2023 को विधि विधान के साथ इसकी प्राण प्रतिष्ठा की गई थी। इस शिवलिंग का दर्शन करने के लिए प्रदेश के कोने-कोने से श्रद्धालु शक्करगढ़ पहुंचते हैं। यहां श्रावण मास में शिव भक्तों की संख्या बहुत ज्यादा बढ़ जाती है।
कस्बे से गुजरेगी कावड़ यात्रा-कस्बे के भैरु लाल मंत्री ने बताया कि त्रिवेणी संगम की और आने वाली कावड़ यात्रा का कस्बे में आचार्य हंस चेतन्य महाराज जी की अगुवाई में पुष्प वर्षा के साथ स्वागत किया जाएगा वही कावड़ यात्रा कस्बे के बाई पास,बस स्टैंड,सदर बाजार होती हुई गुजरेगी और कावड़ यात्रा संगम स्थल श्री संकट हरण हनुमद्धाम शक्करगढ़ पहुँचेगी जहाँ आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी श्री जगदीश पुरी जी महाराज के सानिध्य में जलाभिषेक होगा।