—-> सिद्धचक्र महामंडल विधान से दिव्य शक्तियां प्रकट होती-इन्द्रनन्दी महाराज।
महेंद्र कुमार सैनी
स्मार्ट हलचल/नगर फोर्ट उपखंड उनियारा के बनेठा कस्बें में जैन समाज के तत्वाधान में आयोजित हो रहे सिद्धचक्र महामंडल विधान की शुरुआत में गाजेबाजे के साथ भव्य रथयात्रा निकाली गई। रथयात्रा के दौरान महिलाएं सिर पर मंगल कलश रखकर जूलूस की शोभा बढ़ा रही थी। जुलूस में समाज की बालिकाओं ने डांडिया नृत्य की प्रस्तुति कर अनोखी आभा बिखेरी। समाज के हरीश जैन पाण्डया एवं लोकेश जैन ने बताया कि रथ पर सारथी के रूप में बोली तेजमल सुरेशचंद,चंवर ढोरने में राजेन्द्र प्रसाद सुशील कुमार,देवेन्द्र कुमार मनोज कुमार ने ली। वहीं जैन प्रतिमा को रथ में विराजमान करने का सौभाग्य राजकुमार,बसंत कुमार को प्राप्त हुआ। रथयात्रा में सौधर्म इंद्र,ईशान इंद्र,महायज्ञ नायक,सानत इन्द्र भी जुलूस की शोभा बढ़ा रहे थे। रथयात्रा के दौरान जगह-जगह भक्तों ने आचार्य संघ का स्वागत किया। इस दृश्य को देखकर श्रद्धालु भावविभोर हो गए। जुलूस छोटा बाजार होते हुए,तेजाजी चौक,बड़ा बाजार से निर्मल कुंज पहुंचा। वहां पंडित मनोज जैन शास्त्री बगरोही के दिशा निर्देशन में जैन मंत्रोच्चार से विधान मंडल शुद्धि, ध्वजारोहण किया गया। ध्वजारोहण करने का सौभाग्य तेजमल सुरेशचंद नाथूलाल को प्राप्त हुआ। तत्पश्यात आचार्य इन्द्रनन्दी महाराज एवं बालाचार्य निपूर्ण नंदी महाराज ससंघ की आहार चर्या हुई। दोपहर को आचार्य इन्द्रनन्दी महाराज ने अपने संबोधन में बताया कि सिद्धचक्र महामंडल विधान से दिव्य शक्तियां प्रकट होती हैं। यह विधान सभी विधानो का राजा है, इसमें सभी विधान शामिल हैं। यह एक ऐसा अनुष्ठान है,जो हमारे जीवन के सभी पाप,ताप और संताप को नष्ट कर देता है। जिसमें कई प्रकार के मंत्र व बीजाक्षरों की स्थापना की जाती है। इस मौके पर समाज के अध्यक्ष तेजमल जैन,पदमचंद पाण्डया,मंत्री सुशील कुमार, धर्मेन्द्र जैन,बसंत जैन,प्रवीण चन्द पाण्डया सहित कई जैन समाज के श्रद्धालु उपस्थित थे।