शरीया कानून के खिलाफ जाकर पाकिस्तानी कोर्ट ने पूर्व PM इमरान खान और उनकी पत्नी बुशरा के निकाह को ठहराया गैरकानूनी। पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को 14 वर्षों की कैद के बाद निजी जीवन में एक बड़ी चोट आई है। एक पाकिस्तानी अदालत ने इमरान खान और पूर्व प्रथम महिला बुशरा बीबी के विवाह को गैर इस्लामी ठहराया है, जब चार दिनों में आगामी चुनाव होने वाले हैं और स्थानीय अदालत का निर्णय इमरान खान के लिए कठिनाईयों का सामना करा रहा है।
क्या है इद्दत?
इद्दत एक इस्लामी कानून है, जिसे दूसरे शब्दों में कहें तो यह एक तरह से वेटिंग पीरियड है. इद्दत संयम की वह अवधि है, जिसका पालन एक महिला को अपने शौहर के इंतकाल या तलाक के बाद करना होता है. इद्दत के दौरान वह महिला किसी अन्य पुरुष से निकाह नहीं कर सकती है. इसका मुख्य उद्देश्य पूर्व पति के साथ तलाक या मृत्यु के बाद पैदा हुए बच्चे के पितृत्व के बारे में किसी भी संदेह को दूर करना है. इद्दत की अवधि अलग-अलग परिस्थितियों में अलग-अलग होती है. ज्यादातर एक तलाकशुदा महिला की इद्दत की अवधि लगभग 130 दिनों की होती है. इस दौरान उस महिला के निकाह करने पर पाबंदी होती है. अगर कोई महिला तलाक होने या विधवा होने के बाद गर्भवती है तो इद्दत तब तक जारी रहती है जब तक वह बच्चे को जन्म ना दे दे.
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी (Bushra Bibi) को सजा सुनाई गई है. इमरान और बुशरा को ‘गैर-इस्लामिक निकाह’ मामले में 7-7 साल कैद की सजा सुनाई गई है. दोनों के निकाह को कोर्ट की तरफ से अवैध करार दिया गया है. ऐसे में सवाल उठता है कि जब इस्लाम में चार शादियां जायज हैं तो फिर इमरान खान की तीसरी शादी गैर-इस्लामिक या अवैध कैसे हो गई? इसका जवाब जानने के लिए थोड़ा फ्लैशबैक का सुनना होगा. जैसे- दोनों कब एक दूसरे से मिले, फिर एकदूजे के हो गए और 6 साल बाद उनकी शादी ही अवैध हो गई.
इद्दत के दौरान महिलाओं के लिए गैरपुरुषों से पर्दा करना भी जरूरी होता है. इस दौरान महिला के सजने-संवरने या मेकअप करने पर भी पाबंदी होती है. इसके अलावा भड़कीले कपड़े पहनने पर भी प्रतिबंध होता है. अगर महिला का कोई सहारा ना हो उसे घर से बाहर निकलने का अधिकार होता है.
इद्दत के दौरान किया गया निकाह अवैध
इद्दत के दौरान महिला किसी पुरुष से निकाह नहीं कर सकती. क्योंकि इद्दत के दौरान किया गया निकाह अवैध माना जाता है. यह प्रतिबंध इद्दत की अवधि बीत जाने के बाद ही खत्म होता है.
इमरान खान और बुशरा बीबी का निकाह कराने वाले मौलवी मुफ्ती मोहम्मद सईद ने इस मामले में गवाही दी थी। उन्होंने वरिष्ठ सिविल जज नसरुम मिनाल्लाह के समक्ष गवाही के दौरान कहा था कि इमरान खान ने उनसे 1 जनवरी, 2018 को लाहौर में बुशरा बीबी के साथ अपना निकाह करने के लिए कहा। इमरान खान उन्हें डिफेंस सोसाइटी के एक घर में ले गए और वहां उन्होंने (मुफ्ती सईद) बुशरा बीबी और पीटीआई प्रमुख दोनों के रिश्तेदारों से मुलाकात की। मुफ्ती सईद ने कहा, “निकाह करने से पहले मैंने दोनों पक्षों से कई तरह की जानकारियां प्राप्त की। मैंने उनसे उनकी पहली शादी और तलाक के बारे में भी पूछा।”