पुनित चपलोत
भीलवाड़ा। डिजिटल युग में बढ़ते साइबर अपराधों को देखते हुए कॉन्फ़्रेंस हॉल एसपी ऑफिस भीलवाड़ा में एक विशेष साइबर जागरूकता कार्यशाला का आयोजन किया गया । यह कार्यक्रम एचडीएफ़सी बैंक के क्लस्टर हेड गौरव नागपॉल, शाखा प्रबंधक श्रीकांत अपूर्वा एवं एचडीएफसी बैंक की आर सी व्यास कॉलोनी शाखा के सहयोग से हुआ जिसका उद्देश्य साइबर अपराधों से बचने के उपाए के प्रति जागरूक करना था। कार्यशाला में विशेषज्ञों ने विभाग के कर्मचारियों को बताया की कैसे साइबरअपराधों द्वारा ओ.टी.पी पूछकर नक़ली ऐप डाउनलोड कराकर या मोबाइल फोन हैक कर वित्तीय और व्यक्तिगत डेटा चुरा लेते हैं इस दौरान कर्मचारियों को साइबर सुरक्षा के विभिन्न पहलुओं से अवगत कराया गया है। साइबर अपराध का प्राथमिक प्रभाव वित्तीय है। साइबर अपराध में कई अलग-अलग प्रकार की लाभ-संचालित आपराधिक गतिविधियाँ शामिल हो सकती हैं, जिनमें रैनसमवेयर हमले, ईमेल और इंटरनेट धोखाधड़ी और पहचान धोखाधड़ी, साथ ही वित्तीय खाते, क्रेडिट कार्ड या अन्य भुगतान कार्ड की जानकारी चुराने का प्रयास शामिल है। कार्यक्रम में एचडीएफसी बैंक की और से साइबर विशेषज्ञ प्रिया शेखावत और रजत जैन ने हिस्सा लिया उन्होंने डिजीटल अरेस्ट स्केम के बारे में भी समझाया की डिजीटल अरेस्ट स्कैम देश का सबसे बड़ा स्कैम बन चुका है और कैसे हर दिन लोग इसके शिकार हो रहे हैं इससे बचने का सबसे आसान तरीक़ा यह रास्ता है कि आपको घबराना नहीं है यदि आपके पास ऐसा कोई कॉल आता है तो आपको ऐसी कॉल का जवाब नहीं देना है ऐसे में जागरूकता ही सबसे बड़ा हथियार है और हर कर्मचारी को साइबर सुरक्षा के नियमों का पालन करना चाहिए । इस कार्यक्रम में एडिशनल एसपी पारसमल जैन और साइबर सेल से अंकित यादव एवं जिले के चुनिंदा पुलिस अधिकारी ने भाग लिया ।