( महेन्द्र नागौरी)
भीलवाड़ा नगर
परिषद:नमक के चोकीदार से शक्कर की चौकीदारी फिर कैसे होगी फर्जी पटटो की निष्पक्ष जांच
भीलवाड़ा/ स्मार्ट हलचल/तत्कालीन गहलोत सरकार की हुकूमत के दौरान प्रशासन शहरों के अभियान के तहत जारी किये गये पट्टो की जांच नगर परिषद भीलवाडा आयुक्त से करवाना गैर कानुनी एवं न्याय के सिद्धान्त के खिलाफ बताये जाने को लेकर पार्षद राजेश सिसोदिया ने
सीएम, पीएम, सांसद दामोदर अग्रवाल विधायक अशोक कोठारी सहित अन्य को पत्र प्रेषित कर जांच निदेशालय द्वारा गठित कमेठी से करवाने की बात कही ।
गुरुवार को सीएम भजन लाल शर्मा को लिखे पत्र में पार्षद राजेश सिसोदिया ने
आरोप लगाया कि भीलवाड़ा नगर परिषद द्वारा प्रशासन शहरों के संग अभियान 2.अक्टूम्बर 2021 के तहत जारी पट्टे की जांच की मांग मुख्य मंत्री व निदेशक स्वायत शासन महक़मा से की थी जिसमें परिषद द्वारा नगर परिषद भीलवाडा की बेशकिमती जगहो पर परिषद प्रशासन द्वारा अपने चहेते लोगो के कब्जे करवाकर पट्टे जारी किये गये उस समबन्ध में की थी
सिसोदिया ने कहा कि इस अभियान में आम गरीब व्यक्तियों को पट्टे जारी नहीं करके सरकारी जमीनों पर कब्जे करवाकर उनके पट्टे जारी कर धांधली की गई जिसके चलते नगर परिषद भीलवाड़ा को करोडो रूपयो का चुना लगा इसके बावजूद भी आम गरीब को पट्टे नहीं मिले जिसकी जांच की मांग की थी लेकिन सहायक निदेशक (गर्तकर्ता) स्वायत शासन विभाग राजस्थान जयपुर
ने उक्त फर्जी पट्टा प्रकरण की जाच आयुक्त नगर परिषद भीलवाडा को सोपकर जांच करने के आदेश जारी किये गये जो सक्षम लोगो के पट्टे है क्यो कि उन्होंने नगर परिषद भीलवाडा द्वारा जारी फर्जी की जांच की माग की थी जिन पट्टो पर आयुक्त के हस्ताक्षर के बगेर जारी नहीं किये जा सकते उक्त पट्टो पर आयुक्त के हस्ताक्षर हो ना यह माना जाता है कि इनकी इसमे सहमति ओर मिली भगत रही है और पट्टे सरकारी जमीनों पर कब्जे करके जारी किये गये है। इसका मतलब सीधे-सीधे इस में आयुक्त भी शामिल है। अगर फर्जी पट्टो की जांच खुद नगर परिषद आयुक्त करेगे तो उनको दोषी कौन साबित करेगा क्या वे अपने खिलाफ जांच रिपोर्ट देगे यह तो वही कहावत चरितार्थ होती है कि दुध की रखवाली बिल्ली से करवाना इसलिए पूरी जांच सदेह के घेरे में है। उन्होंने मुख्यमंत्री से कहा कि वे तो बस इतना ही चाहते है,कि इस प्रकरण की जांच निदेशालय द्वारा गठित कर आईएएस या आरएएस अधिकारी स्तर के अधिकारी से करवाई जाये ताकि नगर परिषद भीलवाडा की बेशकिमती जगहो पर जो कब्जे करके पट्टे जारी किये गये है उन्हें निरस्त करवाकर जमीनो को फिर से परिषद के कब्जे में लिया जा सके एवं जिन अधिकारियो कर्मचारियों ने भ्रष्टाचार कर सरकार को करोडो का चुना लगाया है उनके खिलाफ कार्यवाही की जाये।
सिसोदिया ने सीएम से
मांग की है कि निदेशालय स्तर के अधिकारियों की गठित कमेठी से जांच करवाई जाए।
पार्षद सिसोदिया के बाद जागरूक शहरवासियों ने भीलवाडा नगर विकास न्यास में तत्कालीन गहलोत सरकार की हुकूमत के दौरान प्रशासन शहरों के संग जारी अभियान के तहत जारी किये गये
योजना / गैर योजना क्षेत्र के
पट्टो की जांच की भी मांग सीएम से की है ।